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ब्लैक बॉक्स क्या होता है ? | Black box kya hai | Black box in helicopter in Hindi

Black box in aircraft


हैल्लो दोस्तों, आज की इस पोस्ट में हम हवाई जहाज में लगे black box के बारे में बात करेंगें जैसा की आप सब जानते हैं चीफ ऑफ़ डिफेंस स्टॉफ जनरल बिपिन रावत को कुन्नूर से वेलिंगटन ले जाने के दौरान MI17 V हेलिकॉप्टर क्रैश हो गया। इस हादसे में जनरल बिपिन रावत और उनकी पत्नी समेत कई सैन्य अफसरों और क्रू मेंबर्स का निधन हो गया। इस हादसे के बाद हर कोई हादसे की असली वजह जानना चाहता है। ऐसे में सबकी निगाहें ब्लैक बॉक्स पर टिकी हुई है। तो चलिए आज हम Black box के बारे में जानते है कि ऑरेंज रंग का ब्लैक बॉक्स क्या है और कैसे काम करता है, जो बताता है विमान हादसे की असली वजह.....

Black box flight recorder
Aircraft black box | gomyclass

ब्लैक बॉक्स क्या है ?


ब्लैक बॉक्स प्लेन का सबसे अहम् हिस्सा होता है। ब्लैक बॉक्स सभी प्रकार के प्लेन में लगाया जाता है। हवाई जहाज के उड़ान के दौरान हवाई जहाज से जुड़ी सभी गतिविधियों को रिकॉर्ड करने के लिए ब्लैक बॉक्स का इस्तेमाल किया जाता है। ब्लैक बॉक्स को Flight Data Recorder (FDR) भी कहा जाता है। ब्लैक बॉक्स बहुत हीं मजबूत धातु टाइटेनियम से बने बॉक्स के अंदर बंद होता है, जिससे ऊंचाई से जमीन पर गिरने और समुंद्री पानी में गिरने पर भी सुरक्षित रहता है। और बिना ज्यादा नुकसान के ब्लैक बॉक्स में रिकार्डेड डाटा को सुरक्षित निकाला जा सकता है। ब्लैक बॉक्स 11000 डिग्री सेल्सियस तापमान को सहन कर सकता है। इसका रंग लाल या ऑरेंज होता है जिससे आसानी से ढूंढा जा सके।

ब्लैक बॉक्स में मुख्य दो उपकरण लगे होते हैं :~


1. Cockpit Voice Recorder (CVR):~ CVR कॉकपिट में पायलेट और उसके सहयोगियों के बीच की बातचीत को और कॉकपिट में हो रहे अन्य आवाजों को भी रिकॉर्ड करता है। रेडियो में हो रही उन सभी बातों को भी रिकॉर्ड करता जो कॉकपिट और ATC (Air Traffic Control) के बीच होती है। CVR में हवाई जहाज के टक्कर से लेकर 2 घंटे पहले तक की सारी बातचीत रिकॉर्ड रहता है।

2. Flight Data Recorder (FDR):~ FDR विभिन्न गतिविधियाँ जैसे- विमान की दिशा, ऊँचाई, ईंधन, गति, हलचल, केबिन का तापमान, इत्यादि सहित लगभग 88 प्रकार के डाटा की 24 घंटे से अधिक की रिकार्डेड जानकारी एकत्रित रखता है।

ब्लैक बॉक्स कैसे काम करता है ?


ब्लैक बॉक्स बिना बिजली के करीब 30 दिनों तक काम करता रहता है। जब भी कभी हवाई जहाज क्रैश होता है और ब्लैक बॉक्स किसी जगह पर गिरता है तो इसमें से हर सेकंड बीप की आवाज़/तरंगे 30 दिनों तक लगातार निकलता रहता है। इस आवाज़ को 2 से 3 किलोमीटर दूर से भी पहचाना जा सकता है जिससे ब्लैक बॉक्स को आसानी से ढूंढा जा सकता है। इसकी खाश बात यह है कि यह समुंद्र में 14,000 फिट की गहरे पानी से भी संकेत भेज सकता है। ब्लैक बॉक्स विमान दुर्घटनाओं की जाँच में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

ब्लैक बॉक्स का इतिहास


ब्लैक बॉक्स का अविष्कार डेविड वारेन (David Warren's) ने किया था। वे ऑस्ट्रेलिया के वैज्ञानिक थे। ब्लैक बॉक्स का इतिहास लगभग 50 साल पुराना है। दरअसल 1953-54 के करीब विमान दुर्घटनाओं की संख्या लगातार बढती जा रही थी। इन दुर्घटनाओं की वजह से एक ऐसे उपकरण विकसित करने की बात हुई जो विमान हादसों की सही जानकारी दे सके। जिससे भविष्य में होने वाले दुर्घटनाओं से बचा जा सके। इसी को देखते हुए ब्लैक बॉक्स का निर्माण किया गया। शुरुआत में लाल रंग के होने के कारण इसे 'रेड एग' नाम दिया गया। शुरूआती दिनों में बॉक्स की भीतरी दीवारों को काले रंग से रंगा जाता था, शायद इसी वजह से इसे ब्लैक बॉक्स कहा जाता है।



दोस्तों, आज कि इस पोस्ट में Flight Black box के बारे में बताया गया, साथ हीं इस से संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियाँ आपके साथ साझा किया गया। हम आशा करते हैं ये पोस्ट और इस पोस्ट से जुड़ी सभी जानकारियाँ आपके लिए फायदेमंद होगी। अगर ये जानकारियाँ आपको अच्छी लगी हो तो इस पोस्ट को लाइक करे जिससे हमें और भी अच्छे और जानकारी पूर्ण पोस्ट लिखने के लिए प्रेरणा मिलती रहे और इस पोस्ट को अपने दोस्तों के साथ शेयर करें जिससे उन्हें भी इस पोस्ट से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियाँ प्राप्त हो सके।

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